कहीं आपकी तस्वीरों से भी तो नहीं हो रहा छेड़छाड़? ऐप के जरिए लोन के जाल में ऐसी फंसी महिला कि…

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दिल्ली पुलिस (Delhi Police) ने फर्जी लोन ऐप (Fake Loan App) के जरिए प्राप्त की गई लोगों की तस्वीरों से छेड़छाड़ करके उनसे कथित तौर पर पैसे वसूलने के आरोप में आठ लोगों को गिरफ्तार किया है. पुलिस ने कहा कि एक चीनी नागरिक सहित आठ लोगों को दिल्ली, जोधपुर और गुरुग्राम से लोगों को कर्ज देने के बहाने जबरन वसूली करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है.
दिल्ली पुलिस (Delhi Police) ने फर्जी लोन ऐप (Fake Loan App) के जरिए प्राप्त की गई लोगों की तस्वीरों से छेड़छाड़ करके उनसे कथित तौर पर पैसे वसूलने के आरोप में आठ लोगों को गिरफ्तार किया है. पुलिस ने कहा कि एक चीनी नागरिक सहित आठ लोगों को दिल्ली, जोधपुर और गुरुग्राम से लोगों को कर्ज देने के बहाने जबरन वसूली करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है.
दिल्ली पुलिस की ‘इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रैटेजिक ऑपरेशंस’ (आईएसएसओ) इकाई ने इस गिरोह का भंडाफोड़ किया. यह गिरोह एक मोबाइल ऐप ‘कैश एडवांस’ के जरिए कथित तौर पर ऋण की पेशकश करता था, लेकिन वास्तव में वह ऐप का इस्तेमाल उपयोगकर्ताओं के फोन में मैलवेयर डालकर उनके निजी डेटा तक पहुंचने के लिए करता था. पुलिस के अनुसार, जबरन वसूली का पैसा चीन, हांगकांग और दुबई के खातों में क्रिप्टोकरंसी के माध्यम से भेजा गया था. उन्होंने बताया कि इस मामले में दिल्ली, जोधपुर, गुरुग्राम और देश के अन्य हिस्सों से आठ आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है.
डीसीपी केपीएस मल्होत्रा ने कहा कि उन्हें एक महिला की शिकायत मिली है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि उसे अज्ञात लोगों द्वारा धमकाया जा रहा है, जिन्होंने सोशल मीडिया के माध्यम से उसके परिवार और दोस्तों को उसकी मॉर्फ्ड (एडिटेड) तस्वीरें भेजी थीं. उसने पुलिस को बताया कि उसने एक ऐप के माध्यम से ऋण लिया था और उसे चुका भी दिया था.
उन्होंने आगे कहा कि इसके तुरंत बाद उसे ऐप के कर्मचारियों से व्हाट्सएप कॉल और मैसेज की धमकी मिलने लगी. हमने पाया कि कथित घोटालेबाज एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी की प्रोफाइल पिक्चर का इस्तेमाल कर रहे थे. मल्होत्रा ​​ने कहा कि लोन ऐप का विश्लेषण किया गया और यह ‘दुर्भावनापूर्ण’ पाया गया था. यह किसी व्यक्ति के डिटेल्स, संपर्क/ तस्वीर चुरा लेता है और तीसरे पक्ष को भेज देता है.